मीठी है ये तेरी अगन कि खो गए हैं हम तुझमें सनम,
माना कि तु है रे मगन पर वादा करो कि होगा तेरा मेरा संगम।
खाई है ये तूने कसम कि छेड़ेंगे ना संग हमारा ऐ सनम,
पैगाम दे रहे हैं तेरे कदम कि दूर नहीं है वो मिलन सनम।
दूर है सिर्फ ये दो बदन, पर मिलन है हमारा अमर, ओ सनम,
कि साथ साथ चलेंगे हर कदम, जहाँ तू ले चलेगा, मेरे सनम।
पागल इस दीवाने की कसम, कि पाऐंगे तुझे ज़रूर, ऐ सनम,
छुऐंगे हम तेरे चरन और झूमेंगे हम तेरे प्यार में सनम।
करेंगे हम तुझे नमन कि मिल गया है तू, मुझे ऐ सनम,
हो जाऐंगे तेरे प्यार में मगन कि आऐ हैं तेरे दर पर सनम।
- डॉ. हीरा